शाऊल के परिवार और दाऊद के परिवार में लम्बे समय तक युद्ध चलता रहा। [*शाऊल के … रहा यहूदा का परिवार समूह दाऊद का अनुसरण करता था। वे उन दूसरे परिवार समूहों के साथ युद्ध करते थे, जो शाऊल का अनुसरण करते थे।] दाऊद अथिकाधिक शक्तिशाली होता गया। और शाऊल का परिवार कमजोर पर कमजोर होता गाय। दाऊद के छ: पुत्र हेब्रोन में उत्पन्न हुए
अब्नेर, ईशबोशेत ने जो कुछ कहा, उस से बहुत क्रोधित हुआ। अब्नेर ने कहा, “मैं शाऊल और उसके परिवार का भक्त रहा हूँ। मैंने तुम को दाऊद को नहीं दिया, मैंने तुमको उसे हराने नहीं दिया। मैं यहूदा के लिये काम करने वाला देशद्रोही नहीं हूँ। [†मैं … नहीं हूँ शाब्दिक, “क्या मैं यहूदा के कुत्ते का सिर हूं?”] किन्तु अब तुम कह रहे हो कि मैंने यह बुराई की।
(9-10) मैं प्रतिज्ञा करता हूँ कि अब परमेश्वर ने जो कहा है वही होगा। यहोवा ने कहा कि वह शाऊल के परिवार के राज्य को ले लेगा और इसे दाऊद को देगा। यहोवा दाऊद को यहूदा और इस्राएल का राजा बनायेगा। वह दान से लेकर बेर्शेबा तक शासन करेगा। परमश्वर मेरे साथ बुरा करे यदि मैं वैसा होने में सहायता नहीं करता।”
अब्नेर ने दाऊद के पास दूत भेजे। अब्नेर ने कहा, “तुम इस देश पर शासन करो। मेरे साथ एक शन्धि करो और में तुमको पूरे इस्राएल के लोगों का शासक बनने में सहायता करूँगा।”
दाऊद ने उत्तर दिया, “ठीक है! मैं तुम्हारे साथ सन्धि करुँगा। किन्तु तुमसे मैं केवल एक बात कहता हूँ कि जब तुम मुझसे मिलने आओ तब शाऊल की पुत्री मीकल को अवश्य लाना।”
दाऊद ने शाऊल के पुत्र ईशबोशेत के पास दूत भेजे। दाऊद ने कहा, “मेरी पत्नी मीकल को मुझे वापस करो। मैंने उसे पाने के लिये सौ पलिश्तियों को मारा था।” [‡मैने … मारा था शाब्दिक, “मैने उसके लिये सौ पलिश्तियों के खलडियों में दिया था।”]
मीकल का पति पलतीएल मीकल के साथ गया। वह बहूरीम नगर तक मीकल के पीछे—पीछे रोता हुआ गया। किन्तु अब्नेर ने पलितीएल से कहा, “घर लौट जाओ।” इसलिये पलतीएल घर लौट गया।
अब इसे करें! यहोवा दाऊद के बारे में कह रहा था जब उसने कहा था, ‘मैं अपने इस्राएली लोगों को पलिश्तियों और उनके अन्य सभी शत्रुओं से बचाऊँगा। मैं यह अपने सेवक दाऊद द्वारा करूँगा।’ ”
अब्नेर ने ये बाते बिन्यामीन के परिवार समूह के लोगों से कही। अब्नेर ने जो कुछ कहा वह बिन्यामीन परिवार के लोगों तथा इस्राएल के सभी लोगों को अच्छा लगा। अत: अब्नेर ने हेब्रोन में दाऊद से वे सभी बातें बतायी, जिसे करने में इस्राएल के लोग तथा बिन्यामीन परिवार के लोग सहमत थे।
अब्नेर ने दाऊद से कहा, “स्वामी, मेरे राजा, मैं जाऊँगा और सभी इस्राएलियों को आपके पास लाऊँगा। तब वे आपके साथ सन्धि करेंगे, और आप पूरे इस्राएल पर शासन करेंगे जैसा आप चाहते हैं।” तब दाऊद ने अब्नेर को विदा किया और अब्नेर शान्तिपूर्वक गया।
योआब और दाऊद के अधिकारी युद्ध से लौटकर आए। उनके पास बहुत कीमती सामान थे जो वे शत्रु से लाए थे। दाऊद ने अब्नेर को शान्तिपूर्वक जाने दिया था। इसलिए अब्नेर दाऊद के साथ हेब्रोन में नहीं था।
जब अब्नेर हेब्रोन आया तो योआब, प्रवेशद्वार के एक किनारे उसे ले गया और तब योआब ने अब्नेन के पेट में प्रहार किया और अब्नेर मर गया। पिछले दिनों में अब्नेर ने योआब के भाई असाहेल को मारा था। अत: अब योआब ने अब्नेर को मारा डाला।
योआब और उसका परिवार इसके लिये उत्तरदायी है और उसका पूरा परिवार इसके लिए दोषी है। मुझे आशंका है कि योआब के परिवार पर बहुत विपत्तियाँ आएंगी। मुझे यह आशा है कि उसके परिवार में सदा कोई न कोई जख्म से अथवा भयानक चर्मरोग से पीड़ित होगा, और कोई बैसाखी उपयोग में लाएगा, और कोई युद्ध में मारा जाएगा और कोई बिना भोजन रहेगा!”
(31-32) दाऊद ने योआब के साथ के सभी व्यक्तियों से कहा, “अपने वस्त्रों को फाड़ो और शोक वस्त्रों को पहनो। अब्नेर के लिये रोओ।” उन्होंने अब्नेर को हेब्रोन में दफनाया। दाऊद अंत्येष्टि में दाऊद अर्थी के पीछे गया। राजा दाऊद और सभी लोग अब्नेर की कब्र पर रोए।
सभी लोग दाऊद को दिन रहते भोजन करने के लिये प्रेरित करने आए। किन्तु दाऊद ने विशेष प्रतिज्ञा की। उसने कहा, “परमेश्वर मुझे दण्ड दे और मेरे कष्टों को बढ़ाएं यदि मैं सूरज डूबने के पहले रोटी या कोई अन्य भोजन करुँ।”